सीएचसी बेलखरनाथ धाम में लापरवाही की हदें पार, प्रसूताओं और नवजातों की जान पर बन आई

पिछले एक महीने के भीतर आधा दर्जन से अधिक नवजात शिशुओं की मौत से उठा सवाल

बेलखरनाथ धाम, प्रतिनिधि।

सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र बेलखरनाथ धाम इन दिनों स्वास्थ्य सेवा के नाम पर शर्मनाक खेल का केंद्र बन चुका है। यहां प्रसव के लिए आने वाली महिलाओं और उनके नवजात शिशुओं की जान को सीधे तौर पर खतरे में डाला जा रहा है। एक ओर जहां स्टाफ की भारी कमी है, वहीं मौजूद नर्सिंग स्टाफ का व्यवहार और कार्यशैली बेहद लापरवाही भरी बताई जा रही है।

प्राप्त जानकारी के अनुसार, पिछले एक महीने के भीतर आधा दर्जन से अधिक नवजात शिशुओं की मौत हो चुकी है या उन्हें गंभीर हालत में एनआईसीयू में भर्ती कराना पड़ा है। तीमारदारों का आरोप है कि केंद्र में प्रसव कराने के नाम पर मोटी रकम की वसूली की जाती है। जब पीड़िता के परिजन एक से दो हजार रुपये देने में असमर्थ होते हैं, तो उन्हें बिना उचित कारण के रेफर कर दिया जाता है।

विश्वसनीय सूत्रों का दावा है कि सीएचसी में कुछ महिला दलाल सक्रिय हैं, जो प्रसव पीड़िताओं को बरगलाकर निजी अस्पतालों में ले जाती हैं। वहां कमीशनखोरी का खेल खेला जाता है और जच्चा-बच्चा दोनों की हालत बिगड़ने पर उन्हें वापस सरकारी संस्थानों की शरण में लाया जाता है।

स्वास्थ्य केंद्र की यह मनमानी न केवल विभागीय कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े करती है, बल्कि सरकार की स्वास्थ्य योजनाओं की भी पोल खोलती है। यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है कि जिन संस्थानों पर जनविश्वास टिका होता है, वही लालच और लापरवाही की भेंट चढ़ चुके हैं।जिम्मेदारों की चुप्पी इस बात की गवाही देती है कि इस मौत के खेल को मौन स्वीकृति मिल रही है। यदि समय रहते कठोर कार्रवाई नहीं हुई, तो बेलखरनाथ धाम सीएचसी में आने वाला हर प्रसूता और नवजात एक बड़ी जोखिम के घेरे में रहेगा।

जनहित में अपील: सावधान रहें, सचेत रहें। किसी भी स्वास्थ्य सेवा केंद्र में लापरवाही हो तो उसकी शिकायत दर्ज कराएं और आवाज़ उठाएं। यह चुप्पी किसी की जान न ले ले।

 

 

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