भाग्योदय फाउंडेशन की विचार संगोष्ठी सम्पन्न, नीति निर्धारण हेतु घोषणा-पत्र पर हुई गम्भीर चर्चा
पूर्व प्रशासक से सन्त बने स्वामी कमलानन्द समेत कई विशेषज्ञ मौजूद रहे
लखनऊ, 12 नवम्बर। भारत भाग्योदय, वैश्विक अभ्युदय, प्रकृति एवं मानवता को समर्पित आध्यात्मिक एवं सामाजिक संस्था ‘भाग्योदय फाउंडेशन’ की विशेष गोष्ठी आज इंदिरानगर में संपन्न हुई। इंसाफनगर स्थित ज्ञान गंगा गुरुकुलम के सभागार में ‘भारत के समग्र विकास में प्रतिभावानों का योगदान’ विषय पर संपन्न संगोष्ठी में विभिन्न विधाओं के विशेषज्ञ एक साथ जुटे और गंभीर चिंतन मंथन किया। सरकार व समाज की नीतियों में बदलाव हेतु सम्मिलित घोषणा पत्र का प्रारूप भी तय किया गया। पूर्व प्रशासक से संत बने डॉ. कमल टावरी (अब स्वामी कमलानंद गिरि जी महाराज) के नेतृत्व में विभिन्न विधाओं के विशेषज्ञों ने उन्नत समाज और विकसित राष्ट्र के निर्माण में मिलजुलकर काम करने का संकल्प व्यक्त किया।
इस विचार मंथन में ग्रामीण और शहरी विकास कार्यों से जुड़े विभिन्न विभागों में समन्वय के अभाव तथा क्रेडिट डिपॉजिट रेशिओ में बैंकों में जमा धन का मात्र 20% ही खर्च हो पाने जैसे विषयों पर गंभीर चिंता व्यक्त की गई। यह निर्णय लिया गया कि घोषणा पत्र जारी करके यह सीडी रेशियो 80% तक ले जाने का दबाव राज्य सरकारों के वित्त विभाग, केन्द्रीय वित्त मंत्रालय एवं बैंकों के प्रबंधन पर डाला जाए। इससे विशेष रूप से ग्रामीण रोजगार एवं युवा स्वावलंबन की गतिविधियों को अनेक गुना गति दी जा सकेगी।
सभा में मौजूद पूर्व आईएएस अधिकारी श्री भागवत प्रसाद मिश्र ने शत्रुभावों की प्रबलता पर चिंता व्यक्त की और कहा कि इसे केवल बलशाली बनकर ही रोका जा सकता है। यह भी कहा कि हर व्यक्ति यह संकल्प लें कि यदि वह अन्याय के खिलाफ बल प्रयोग नहीं कर सकता तो कम से कम अन्याय का प्रतिवाद तो अवश्य करें। स्वामी कमलानंद डॉक्टर कमल टावरी पूर्व सचिव भारत सरकार ने सभी को एकजुट होकर काम करने का आह्वान किया।