6 वर्ष से कम उम्र के बच्चो को निःशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा प्रदान करने हेतु जनहित याचिका स्वीकार
सहज-सारथी फाउंडेशन की जनहित याचिका पर केंद्र सरकार एवं राज्य सरकार को जवाब दाखिल करने का आदेश
अंकित पाण्डेय/गाँव लहरिया न्यूज
बुनियादी शिक्षा की नींव को और मजबूत करने के लिए शासन ने आंगनबाड़ी केंद्रों को प्री-प्राइमरी स्कूल बनाने का निर्णय लिया है। इन केंद्रों पर तीन से छह साल आयु वर्ग के बच्चों को अक्षर व संख्या ज्ञान कराया जाएगा। आंगनबाड़ी केंद्रों को प्री-प्राइमरी स्कूल बना दिया गया है। जिस तरह कान्वेंट विद्यालयों में प्री-प्राइमरी के अंतर्गत प्ले ग्रुप (पीजी) व किंडर गार्डन (केजी) की कक्षाएं संचालित होतीं हैं। उसी तरह आंगनबाड़ी केंद्रों पर नन्हें-मुन्ने बच्चों को प्री-प्राइमरी के अंतर्गत खेल-खेल में गतिविधियों पर आधारित शिक्षा दी जा रही है। निपुण भारत अभियान के अंतर्गत पूर्व प्राथमिक कक्षाओं के लिए तीन से छह साल तक के बच्चों को चिन्हित कर उन्हें आंगनबाड़ी केंद्रों में प्रवेश दिलाया जा रहा है। आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं के साथ नोडल शिक्षक इन केंद्रों पर जाकर बच्चों को अक्षर व अंकों का ज्ञान कराएंगे।
यह सारी कवायद सरकारों की तरफ से चल रही है लेकिन सवाल इसके आगे का है। क्या नर्सरी कक्षा में ( प्री -प्राइमरी/ LKG/ ) 6 वर्ष से कम उम्र के बच्चो को निःशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा का संवैधानिक अधिकार है ? क्या इस वर्ग के बच्चों की शिक्षा के लिए योग्य शिक्षक हैं। ज़वाब है नहीं। सरकारों ने कामचलाऊ और जुगाडू व्यवस्था बनायीं है जिससे प्री- प्राइमरी के बच्चों को अच्छी और गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा मिलना मुश्किल होगा ऐसे में सहज -सारथी फाउंडेशन ने जनहित याचिका के माध्यम से न्यायायलय के समक्ष यह मुद्दा उठाया है। जनहित याचिका न्यायालय के स्वीकार होने पर सी.ई.ओ. कनक लता त्रिपाठी ने ख़ुशी व्यक्त की है कहा माननीय उच्च न्यायलय ने याचिका को ध्यान पूर्वक सुना और सरकार को जवाब दाखिल करने का आदेश दिया है। ऐसे में 6 वर्ष से कम उम्र के बच्चो को निःशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा प्रदान कराने की हमारी मुहीम एक कदम आगे बढ़ी है। लडाई थोड़ी लम्बी जरूर है पर हम लड़ेंगे और पूरा विश्वास है माननीय उच्च न्यायलय जरूर बच्चों के हित को ध्यान में रखते हुए फैसला देगी। इस अवसर पर फाउंडेशन के कार्यालय पर कार्यकताओं ने ख़ुशी व्यक्त की।
नर्सरी कक्षा में ( प्री -प्राइमरी/ LKG/ ) 6 वर्ष से कम उम्र के बच्चो को निःशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा प्रदान करने के लिए सहज सारथी फाउंडेशन द्वारा माननीय उच्च न्यायालय में एक जनहित याचिका न. 477/2023 दाखिल की गयी है जिसमे सुनवाई के उपरांत माननीय उच्च न्यायालय की डिवीज़न बेंच ने अपने आदेश दिनांक 24.02.2023 द्वारा केंद्र सरकार एवं राज्य सरकार से जवाब दाखिल करने के लिए कहा है. हमे पूरा विश्वाश है की सहज सारथी फाउंडेशन इस कार्य में सफल होगी-
एडवोकेट सत्येन्द्र चन्द्र त्रिपाठी